अंकित पाण्डेय की रिपोर्ट
भदोही।ओम उच्च शिक्षा संस्थान छतमी में आयोजित डीएल एड के प्रशिक्षुओं का विदाई समारोह रविवार को आयोजित किया गया। इस समारोह में प्रशिक्षुओं को शिक्षा उपस्थित अतिथियो ने शिक्षक के कार्य और जिम्मेदारी के बारे में विस्तृत रूप से बताया। सुरेंद्रनाथ पांडेय ने कहा कि अध्यापक की देश की रीढ़ है। अध्यापकों को भी राजनीति में आकार समाज को नई दिशा देनी चाहिए। क्योंकि समाज की बदलती परिस्थितियों को देखते हुए अध्यापकों को आगे आना बेहद जरूरी है। पंडित पारसनाथ मिश्र ने प्रशिक्षुओं को संबोधित करते हुए कहा कि आज के आधुनिक समय मे नैतिक शिक्षा बेहद जरुरी है। आज लोग पश्चात संस्कृति से प्रेरित होकर भारतीय संस्कृति को छोड़ कर केवल भौतिकवादी व्यवस्था के पीछे चल रहे हैं जो भारत के आगे आने वाली पीढ़ियों के लिए बहुत ही नुकसानदायक सिद्ध होगा। कॉलेज के प्राचार्य राकेश ओझा ने भी प्रशिक्षुओं को संबोधित करते हुए कहा कि अध्यापक ही समाज का एक ऐसा माध्यम है जो समाज को नई दिशा दे सकता है। अतः सभी अध्यापकों को चाहिए कि समाज में व्याप्त बुराइयों को वह अपने स्तर से समाप्त करने के लिए प्रयास करें जिससे एक अच्छे समाज का निर्माण हो सके।
इस मौके पर प्रशिक्षुओं के अलावा राजीव ओझा, पारसनाथ मिश्र, इंद्रजीत, जय प्रकाश पांडेय, सुनील चतुर्वेदी, सुलभ मौर्या, सूर्य प्रकाश पाठक और अमरावती देवी समेत काफी लोग मौजूद थे।