वाराणसी में बदमाशों ने वकील को चेंबर से बुलाकर मारी गोली, मचा हड़कंप

आशीष गौरव पांडेय की रिपोर्ट :

वाराणसी : बदमाशों ने अभिनव त्रिपाठी नामक 28 वर्षीय अधिवक्ता को चेंबर से बाहर बुलाकर गोली मार दी। वारदात मीरापुर बसहीं के कृष्णपुरम कॉलोनी में रात तकरीबन 8:30 बजे हुई। अधिवक्ता के बाएं बांह में गोली लगी है। घायल अधिवक्ता सेंट्रल बार प्रबंध समिति के मेंबर हैं। पता चलने पर पहुंची पुलिस जख्मी अधिवक्ता को लेकर पंडित दीनदयाल अस्पताल गई।



कृष्णपुरम कॉलोनी में अधिवक्ता अभिनव त्रिपाठी का मकान है। घर में ही उनका चेंबर है। रात वह चेंबर में बैठे हुए थे इसी दरमियान उन्हें आवाज देकर हमलावरों ने बाहर बुलाया। बांह में गोली मारने के बाद बदमाश भाग निकले। जानकारी पर पहुंची पुलिस जख्मी अधिवक्ता को अस्पताल लेकर गई। सूचना मिलने पर एसपी सिटी दिनेश कुमार सिंह पंडित दीनदयाल अस्पताल पहुंचे। वारदात के संबंध में घरवाले फिलहाल कुछ नहीं बता पा रहे हैं। घरवालों का अनुमान है कि एक मुकदमे को लेकर चल रहे विवाद के कारण अधिवक्ता को बदमाशों ने गोली मारी है। पुलिस मामले की तफ्तीश में जुट गई है।



हेलमेट पहने था हमलावर

चर्चा है कि अधिवक्ता अभिनव त्रिपाठी को गोली मारने वाला हमलावर हेलमेट पहने हुए था। एसपी सिटी दिनेश कुमार सिंह ने बताया कि जांच की जा रही है। एसओ शिवपुर नागेश सिंह का कहना है कि वारदातस्थल पर गोली का खोखा और खून के छींटे नहीं मिले हैं। पुलिस अधिवक्ता द्वारा दिए गए बयान के आधार पर जांच कर रही है। पंडित दीनदयाल अस्पताल से अधिवक्ता को सर सुंदरलाल अस्पताल के लिए रेफर कर दिया गया है।

सीएम के आने से पहले हुई वारदात से उड़ी नींद

सीएम योगी आदित्यनाथ शुक्रवार को जिले में हैं। देव दीपावली सहित कुछ कार्यक्रमों में उन्हें शिरकत करना है। मुख्यमंत्री के आने से पहले हुई वारदात ने पुलिस की नींद उड़ा दी है। इसी तरह पिछली बार मुख्यमंत्री के आने से पहले भेलूपुर थाना क्षेत्र में मेडिकल एजेंट की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। हालांकि इस मामले में पुलिस ने वक्त रहते वर्कआउट कर लिया था।


About Kanhaiya Krishna

Check Also

पाकिस्तानी आतंकी बाबर भाई मुठभेड़ में ढेर, 4 साल से था घाटी में एक्टिव

पाकिस्तानी आतंकी बाबर भाई मुठभेड़ में ढेर, 4 साल से था घाटी में एक्टिव

पाकिस्तानी आतंकी बाबर भाई मुठभेड़ में ढेर, 4 साल से था घाटी में एक्टिव जम्मू-कश्मीर …

करतारपुर कॉरिडोर

74 साल बाद करतारपुर कॉरिडोर के जरिए मिले दो भाई, बंटवारे ने किया था अलग

1947 में जब भारत और पाकिस्तान का बंटवारा हुआ तो मोहम्मद सिद्दीक नवजात थे। उनका …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *